आज मैं आपको न्यूज़-ट्रेडर, उर्फ़ प्रेस्टीट्यूट, उर्फ़ प्रेश्याओँ, उर्फ़
दलाल पत्रकारों, उर्फ़ दरबारी पत्रकारों की परिभाषा देने जा रहा हूँ |
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तथ्य:
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तथ्य:
⭕️ रफाल सौदे की कुल कीमत 58 हजार करोड़ रुपए।
⭕️ डील के अंतर्गत ऑफसेट क्लॉज़ 50%।
⭕️ यानी भारत से की जाने वाली खरीदारी 29 हजार करोड़ रूपये।
⭕️ 29 हजार करोड़ में हिस्सा डसाल्ट, सफरन और थेल्स का।
⭕️ डसाल्ट द्वारा भारतीय कम्पनीयों संग ज्वाइंट वेंचर और उससे की जाने वाली खरीदारी 8400 करोड़।
⭕️ डसाल्ट द्वारा खरीदारी ज्वाइंट वेंचर व् निवेश हेतु चुनी गई छोटी बड़ी भारतीय कंपनियों की कुल संख्या 56,
जिनमे से एक कंम्पनी अनिल अंबानी की।
⭕️ अनिल अंबानी की कंपनी को मिले कॉन्ट्रैक्ट की कीमत 450 करोड़।
💥 ️ राहुल गांधी और कांग्रेस जिस रफाल डील को 10 वर्ष में पूरा नहीं कर सके और उसका हवाला देकर 526 करोड़ का आंकड़ा उछाल रहे हैं वह केवल विमान की कीमत है,
जिसमे न कोई हथियार व् मिसाइल था, न कोई ट्रेनिंग क्लॉज़, न स्पेयर्स और लॉजिस्टिक्स एग्रीमेंट, न सर्विस और मेंटेनेंस एग्रीमेंट, न ही फ़लीट अवेलिबिलिटी क्लॉज़,न ही विमान की क़्वालिटी पर लेटर ऑफ़ एश्योरेंस था, न ही उस डील में AESA रडार सम्मिलित था,
💥 जबकि आज जो लगभग 1600 करोड़ की कीमत है वो पुरे वेपनाइज़्ड हथियारों व् METEOR और SCALP जैसे मिसाइलों से लैस फुली लोडेड राफाल की है, जिसमे लॉजिस्टिक्स स्पोर्ट, स्पेयर्स-मेंटेनेंस सर्विस एग्रीमेंट, ट्रेनिंग क्लॉज़, फ़लीट अवेलिबिलिटी क्लॉज़, क़्वालिटी पर लेटर ऑफ़ एश्योरेंस हैं और लेटेस्ट RBE2-AA AESA राडार भी सम्मिलित है
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कांग्रेस का अध्यक्ष राहुल गांधी जो खुद 5000 करोड़ के नेशनल हेराल्ड घोटाले में कोर्ट से मिली जमानत पर बाहर है, वो अपने दरबारी पत्रकारों को बुलाकर प्रेस कॉन्फ्रेंस के नाम पर मजमा लगाता है, और कहता है कि “नरेंद्र मोदी ने 526 करोड़ का विमान 1600 करोड़ में लिया और अनिल अंबानी को ₹30,000 करोड़ दे दिए”
🌑 अब सारे तथ्य सामने होने के बावजूद भी उन दरबारी पत्रकारों में से एक भी व्यक्ति घोटालेबाज जमानती राहुल गांधी से इस आंकड़े पर प्रमाण व् साक्ष्य नहीं मांगता,
🌑 सारे तथ्य सुप्रीम कोर्ट द्वारा प्रमाणित होने के बाद भी कोई दरबारी पत्रकार राहुल गांधी के आगे यह तथ्य रखकर उससे प्रश्न नहीं करता,
🌑 कोई दरबारी पत्रकार नहीं पूछता की यदि कांग्रेस की डील इतनी अच्छी थी, तो 10 वर्ष में कांग्रेस उसे पूर्ण क्यों नहीं कर सकी ?
🌑कोई दरबारी पत्रकार नहीं पूछता कि कांग्रेस की डील में क्या राफाल के हथियार, लॉजिस्टिक्स स्पोर्ट, मेंटेनेंस, सर्विस एग्रीमेंट, ट्रेनिंग क्लॉज़, फ़लीट अवेलिबिलिटी क्लॉज़ AESA रडार सम्मिलित था ?
यही हमारे देश के पत्रकारों का स्तर है, जो 1947 से लेकर आज तक इस लुटेरे घोटालेबाज गांधी परिवार के चरणों में लोटते रहे हैं और यह घोटालेबाज कांग्रेस और लुटेरा गांधी परिवार इनके आगे हड्डियां डालकर इनका मुंह बंद कर सैकड़ों घोटालों और रक्षा सौदों में मोटी घूस खाकर देश को लूटता रहा है।
🇮🇳Rohan Sharma🇮🇳
⭕️ डील के अंतर्गत ऑफसेट क्लॉज़ 50%।
⭕️ यानी भारत से की जाने वाली खरीदारी 29 हजार करोड़ रूपये।
⭕️ 29 हजार करोड़ में हिस्सा डसाल्ट, सफरन और थेल्स का।
⭕️ डसाल्ट द्वारा भारतीय कम्पनीयों संग ज्वाइंट वेंचर और उससे की जाने वाली खरीदारी 8400 करोड़।
⭕️ डसाल्ट द्वारा खरीदारी ज्वाइंट वेंचर व् निवेश हेतु चुनी गई छोटी बड़ी भारतीय कंपनियों की कुल संख्या 56,
जिनमे से एक कंम्पनी अनिल अंबानी की।
⭕️ अनिल अंबानी की कंपनी को मिले कॉन्ट्रैक्ट की कीमत 450 करोड़।
💥 ️ राहुल गांधी और कांग्रेस जिस रफाल डील को 10 वर्ष में पूरा नहीं कर सके और उसका हवाला देकर 526 करोड़ का आंकड़ा उछाल रहे हैं वह केवल विमान की कीमत है,
जिसमे न कोई हथियार व् मिसाइल था, न कोई ट्रेनिंग क्लॉज़, न स्पेयर्स और लॉजिस्टिक्स एग्रीमेंट, न सर्विस और मेंटेनेंस एग्रीमेंट, न ही फ़लीट अवेलिबिलिटी क्लॉज़,न ही विमान की क़्वालिटी पर लेटर ऑफ़ एश्योरेंस था, न ही उस डील में AESA रडार सम्मिलित था,
💥 जबकि आज जो लगभग 1600 करोड़ की कीमत है वो पुरे वेपनाइज़्ड हथियारों व् METEOR और SCALP जैसे मिसाइलों से लैस फुली लोडेड राफाल की है, जिसमे लॉजिस्टिक्स स्पोर्ट, स्पेयर्स-मेंटेनेंस सर्विस एग्रीमेंट, ट्रेनिंग क्लॉज़, फ़लीट अवेलिबिलिटी क्लॉज़, क़्वालिटी पर लेटर ऑफ़ एश्योरेंस हैं और लेटेस्ट RBE2-AA AESA राडार भी सम्मिलित है
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कांग्रेस का अध्यक्ष राहुल गांधी जो खुद 5000 करोड़ के नेशनल हेराल्ड घोटाले में कोर्ट से मिली जमानत पर बाहर है, वो अपने दरबारी पत्रकारों को बुलाकर प्रेस कॉन्फ्रेंस के नाम पर मजमा लगाता है, और कहता है कि “नरेंद्र मोदी ने 526 करोड़ का विमान 1600 करोड़ में लिया और अनिल अंबानी को ₹30,000 करोड़ दे दिए”
🌑 अब सारे तथ्य सामने होने के बावजूद भी उन दरबारी पत्रकारों में से एक भी व्यक्ति घोटालेबाज जमानती राहुल गांधी से इस आंकड़े पर प्रमाण व् साक्ष्य नहीं मांगता,
🌑 सारे तथ्य सुप्रीम कोर्ट द्वारा प्रमाणित होने के बाद भी कोई दरबारी पत्रकार राहुल गांधी के आगे यह तथ्य रखकर उससे प्रश्न नहीं करता,
🌑 कोई दरबारी पत्रकार नहीं पूछता की यदि कांग्रेस की डील इतनी अच्छी थी, तो 10 वर्ष में कांग्रेस उसे पूर्ण क्यों नहीं कर सकी ?
🌑कोई दरबारी पत्रकार नहीं पूछता कि कांग्रेस की डील में क्या राफाल के हथियार, लॉजिस्टिक्स स्पोर्ट, मेंटेनेंस, सर्विस एग्रीमेंट, ट्रेनिंग क्लॉज़, फ़लीट अवेलिबिलिटी क्लॉज़ AESA रडार सम्मिलित था ?
यही हमारे देश के पत्रकारों का स्तर है, जो 1947 से लेकर आज तक इस लुटेरे घोटालेबाज गांधी परिवार के चरणों में लोटते रहे हैं और यह घोटालेबाज कांग्रेस और लुटेरा गांधी परिवार इनके आगे हड्डियां डालकर इनका मुंह बंद कर सैकड़ों घोटालों और रक्षा सौदों में मोटी घूस खाकर देश को लूटता रहा है।
🇮🇳Rohan Sharma🇮🇳
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