Wednesday, January 2, 2019

इस्लामिक पत्रकारों का पाखंड

भारत के न्यायालय, सेक्युलर, लिबरल, बुद्धिजीवी, वामपंथी, फेमिनिस्ट ब्रिगेड के अनुसार भारत में स्थित हजारों अय्यप्पा मंदिर में से मात्र एक मंदिर में महिलाओं का अंदर ना जा पाना महिलाओं के अधिकारों का हनन है और लैंगिक भेदभाव है....
किंतु उसी भारत में स्थित करोड़ मस्जिदों में शांतिदूत महिलाओं का प्रवेश पूर्णता निषेध होना, छोटी बात है, शांतिदूतों का धार्मिक विषय है, और उनकी इस इस धार्मिक मान्यता का सम्मान होना चाहिए।
🇮🇳Rohan Sharma🇮🇳

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